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संगीत सोम और संजीव बालियान में जारी जुबानी जंग के बीच फूटा ‘लेटर बम’, पुलिस तक पहुंचा मामला

लोकसभा चुनाव में निराशाजनक प्रदर्शन के बाद पश्चिमी यूपी के दो बड़े बीजेपी नेताओं में जुबानी जंग तेज हो गई है. संगीत सोम और संजीव बालियान एक-दूसरे पर आरोप लगा रहे हैं. इन सबके बीच अब पूर्व विधायक संगीत सोम के कथित लेटर हेड पर एक पत्र वायरल हो रहा है, जिसमें पूर्व मंत्री संजीव बालियान पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगाए गए हैं. हालांकि, ‘वयम भारत’ इस लेटर की पुष्टि नहीं करता है. लेकिन इसको लेकर सोशल मीडिया पर तरह-तरह की चर्चाएं हो रही हैं. संगीत सोम ने भी इसका खंडन किया है.

वायरल हो रहे लेटर में लिखा गया है कि संजीव बालियान द्वारा गत पांच वर्षों में अवैध तरीके से विकास कार्यों के नाम पर अत्यधिक भ्रष्टाचार किया गया है. उनके नजदीकी लोगों द्वारा की जा रही गुंडागर्दी के माध्यम से हजारों करोड़ रुपये की संपत्ति अर्जित की गई है. इस भ्रष्टाचार की जांच होनी चाहिए, क्योंकि इसी कारण पार्टी मुजफ्फरनगर लोकसभा चुनाव हारी है.

इसके अलावा भी बहुत सारे आरोप इस लेटर में संजीव बालियान पर लगाए गए हैं. इसको लेकर जब संगीत सोम से सवाल पूछा गया तो उन्होंने कहा कि यह साजिशन किसी ने लेटर हेड बनकर जारी किया है. मेरा इससे कोई लेना-देना नहीं है. मैं इसके खिलाफ मुकदमा दर्ज करा रहा हूं.

इस बाबत संगीत सोम के निजी सहायक चंद्रशेखर की ओर से मेरठ के लाल कुर्ती थाना में शिकायती पत्र दिया गया है, जिसमें कहा गया है कि अज्ञात व्यक्ति ने गलत तरीके से फर्जी लेटर तैयार कर प्रेस विज्ञप्ति बनाकर बांट दी. लेटर हेड का गलत तरीके से इस्तेमाल किया गया है. इसका BJP नेता से कोई लेना-देना नहीं है.

संजीव बालियान के आरोप के बाद संगीत सोम मीडिया के सामने आए. उन्होंने कहा कि पूर्व सांसद जी ने प्रेस वार्ता कर आरोप लगाया है कि चुनाव मैंने हरवाया है. बकौल संगीत सोम- मैं भारतीय जनता पार्टी का समर्पित कार्यकर्ता हूं. जब उत्तर प्रदेश में अखिलेश यादव की सरकार ने आतंक मचाया हुआ था तब भी मैंने प्रदेश की जनता की बात हर जगह उठाई थी. मेरे लोगों पर अखिलेश की सरकार ने गोली चलवाई, मेरे ऊपर आतंकवाद के मुकदमे दर्ज किए गए,  800 किलोमीटर दूर जेल भेजा गया, लेकिन मेरा मनोबल नहीं तोड़ पाए. मैं पार्टी के लिए काम करता हूं, किसी प्रत्याशी के लिए काम नहीं करता. मेरी पार्टी ने मुझे जिम्मेदारी दी थी की सरधना विधानसभा पर जीत मिलनी चाहिए और वो मिली.

संगीत सोम ने आगे कहा कि इतनी विपरीत परिस्थितियों के बाद जब सरधना में कोई विकास ना हुआ हो, सरधना की जनता पर मुकदमे कराए गए हों, सरधना के लोगों को जेल भेजा गया हो, फिर भी यहां हार नहीं होने दी. हारने का कारण माननीय मंत्री जी (संजीव बालियान) को खुद देखना चाहिए कि वह बुढ़ाना जैसी विधानसभा पर क्यों हार गए? वह चरथावल विधानसभा में क्यों हारे? जबकि मंत्री जी कहते थे मैंने इन्हीं विधानसभाओं में सबसे ज्यादा विकास कराया है.

बीजेपी नेता संगीत सोम ने यह भी कहा कि अगर किसी ने कोई गलती की है और किसी की कोई शिकायत है तो पार्टी फोरम पर बात करनी चाहिए न कि मीडिया के सामने. मुझे तो मीडिया के सामने इसलिए आना पड़ा क्योंकि मुझ पर नाम लेकर आरोप लगाया गए थे. आखिर मैं भी 2022 में चुनाव हारा था, कारण क्या है, मैं कुछ नहीं कहूंगा. लेकिन मैंने उस मामले को पार्टी फ़ोरम पर उठाया था.

शायराना अंदाज में सोम ने कहा- ‘पत्थर पर सर पटकने से कुछ नहीं होता, समंदर को वापस आना है या नहीं आना यह उसको पता है.’ वहीं, RLD के साथ आने पर फायदा हुआ के सवाल पर संगीत सोम ने कहा कि मुझे नहीं लगता. हम जो सीट जीत रहे थे, उन्हें भी हार गए हैं.

मुजफ्फरनगर से चुनाव हारने के बाद संजीव बालियान ने संगीत सोम से जुड़े सवाल पर कहा था कि इन्होंने खुलकर समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी को चुनाव लड़ाया. ये सरकारी सुविधाएं लिए हुए हैं. पार्टी को इनके खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए. इस दौरान बालियान ने पार्टी के अंदर भितरघात से भी इनकार नहीं किया था.

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