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दिल्ली सरकार में मंत्री रहे राजकुमार आनंद का इस्तीफा मंजूर, CM केजरीवाल ने किए हस्ताक्षर

दिल्ली के समाज कल्याण मंत्री राजकुमार आनंद का इस्तीफा मंजूर हो गया है. उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना ने राष्ट्रपति को इसकी सिफारिश भी भेज दी है. इसको लेकर एलजी ऑफिस से बयान जारी किया है. बता दें कि 31 मई को मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने राजकुमार आनंद के इस्तीफे को मंजूर करने की सिफारिश उपराज्यपाल को भेजी थी.

LG ने राष्ट्रपति को भेजी सिफारिश

एलजी ऑफिस की ओर से जारी किए गए बयान कहा गया कि उपराज्यपाल को की गई इस सिफारिश के साथ एससी/एसटी कल्याण, समाज कल्याण, सहकारिता और गुरुद्वारा चुनाव जैसे अहम विभाग नेतृत्वहीन और पंगु हो गए हैं, क्योंकि दिल्ली सीएम केजरीवाल ने इन विभागों को किसी अन्य मंत्री को आवंटित नहीं किया.

ऐसे में यह सभी विभाग स्वतः ही मुख्यमंत्री के हाथ में पहुंच गए. बयान में आगे कहा गया कि सीएम दोबारा जेल चले गए हैं, तो उनके लिए इन महत्वपूर्ण विभागों के लिए किसी भी तरह के निर्णय लेना असंभव होगा और इनसे जुड़े सभी कार्य पूरी तरह से ठप्प हो जाएंगे.

कौन हैं राजकुमार आनंद?

राजकुमार आनंद साल 2020 में पहली बार पटेल नगर सीट से विधायक बने थे. इससे पहले उनकी पत्नी वीना आनंद भी इसी विधानसभा क्षेत्र से विधायक रह चुकी हैं. दिल्ली सरकार के पूर्व मंत्री राजेंद्र पाल गौतम की जगह राजकुमार आनंद को कैबिनेट में शामिल किया गया था. बता दें बौद्ध सम्मेलन के एक कार्यक्रम में हिंदू देवी-देवताओं पर अभद्र टिप्पणी की गई थी, जहां राजेंद्र पाल गौतम भी मौजूद थे, जिसके बाद काफी बवाल हुआ था और राजेंद्र गौतम को कैबिनेट से इस्तीफा देना पड़ा था.

बीएसपी में हो चुके हैं शामिल

दिल्ली सरकार में मंत्री रहे राजकुमार आनंद ने बीते 6 मई को बहुजन समाज पार्टी में एंट्री ले ली थी. साथ ही उन्होंने घोषणा की थी कि वह नई दिल्ली लोकसभा सीट से बीएसपी के टिकट पर चुनाव लड़ेंगे. पूर्व आप नेता ने बीएसपी ज्वाइन करने के बाद कहा था कि मैं अपनी पार्टी में वापस आ गया हूं. राजकुमार आनंद ने बहुजन समाज पार्टी का दामन थामने के बाद मीडिया से मुखातिब होते हुए कहा था, मैं बाबा साहेब अंबेडकर को श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं. मुझे लगता है कि मैं अपनी पार्टी में वापस आ गया हूं.

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